बारिश का तांडव जारी,कहीं कार बह गयी तो कही मकान छतिग्रस्त, सड़कें बन्द

बारिश का तांडव जारी,कहीं कार बह गयी तो कही मकान छतिग्रस्त, सड़कें बन्द

उत्तराखंड में बारिश का दौर जारी है। सीमांत जिले पिथौरागढ़ के विभिन्न हिस्सों में लगातार हो रही बारिश के कारण जन जीवन पूरी तरह अस्त-व्यस्त हो गया है। वहीं, बदरीनाथ हाईवे पर लामबगड़ नाले में बृहस्पतिवार को करीब 18 घंटे बाद वाहनों की आवाजाही सुचारू हो पाई। बुधवार को देर शाम करीब आठ बजे यहां हाईवे बाधित हो गया था।लामबगड़ में ही खचड़ा नाले के उफान पर आने से एक कार तालाब में समा गई। कार सवार लोग समय रहते कार से उतर गए थे। पुलिस की मदद से कार को निकाला जा सका। लामबगड़ क्षेत्र में रुक-रुककर भारी बारिश हो रही है। बारिश से लामबगड़ नाला उफान पर आ गया और यहां बड़े-बड़े बोल्डर हाईवे पर अटक गए। हाईवे के दोनों ओर सेना, आईटीबीपी और स्थानीय लोगों के वाहनों की लंबी लाइन लग गई।

बृहस्पतिवार को बारिश के बीच ही बीआरओ (सीमा सड़क संगठन) की दो जेसीबी मशीनों के जरिये बोल्डरों को हटाया गया। पानी की निकासी के लिए नाली का निर्माण किया गया, जिसके बाद दोपहर में करीब दो बजे हाईवे को खोला जा सका। हालांकि अब भी यहां वाहनों की आवाजाही में दिक्कतें आ रही हैं।

वहीं, बुधवार शाम को भारी बारिश के दौरान एक कार खचड़ा नाले में बने तालाब में अटक गई। कार सवार लोगों ने जैसे तैसे जान बचाई। गोविंदघाट के थानाध्यक्ष बृजमोहन राणा ने बताया कि खचड़ा नाला में बारिश बंद होने के बाद से जल स्तर कम हो गया है, जबकि लामबगड़ नाले से बोल्डरों को हटा दिया गया है।

पिथौरागढ़ में भारी बारिश के कारण जिले में 24 से अधिक सड़कें बंद पड़ी हैं। नदियां उफनाने से किनारे रह रहे लोग सहमे हुए हैं। धारचूला के दर गांव में भारी बारिश के कारण तीन घर क्षतिग्रस्त हो गए। प्रभावित परिवारों ने शासन-प्रशासन से मदद की गुहार लगाई है।

भारी बारिश के कारण धारचूला विकासखंड के दर गांव के न्यू तोक में पूरन सिंह नेगी, परूली देवी और नवीन राम के मकान  क्षतिग्रस्त हो गए हैं। क्षेत्र पंचायत सदस्य डूंगर सिंह दानू और तिजम निवासी सुरेश सिंह ने तहसील प्रशासन को नुकसान की जानकारी दे दी है। राजस्व उपनिरीक्षक उदय भंडारी ने बताया कि प्रभावित परिवारों को सुरक्षित स्थान पर भेज दिया गया है। मुआवजा देने की कार्रवाई की जा रही है।

चीन सीमा को जोड़ने वाली तवाघाट-घट्टाबगड़, तवाघाट-सोबला लंबे समय से दो से अधिक स्थानों पर बंद चल रही है। घट्टाबगड़-लिपूलेख और सोबला दर तिदांग सड़क भी कई स्थानों पर बंद हैं। सामरिक दृष्टि से महत्वपूर्ण इन सड़कों के बंद होने से सुरक्षा एजेंसियों के साथ ही सीमांत के लोग परेशान हैं। आईटीबीपी, एसएसबी, सेना और अन्य सुरक्षा एजेंसियों के लोग पैदल चलकर मंजिल तक पहुंच रहे हैं। इधर थल-मुनस्यारी सड़क पर हरड़िया में लगातार मलबा आ रहा है।

टनकपुर-पिथौरागढ़ राष्ट्रीय राजमार्ग बृहस्पतिवार को तीन घंटे बंद रही। बुधवार रात हुई बारिश से बृहस्पतिवार सुबह साढ़े छह बजे स्वांला के पास मलबा आ गया। मलबे को पौने नौ बजे हटाया जा सका। सड़क बंद होने के दौरान यात्री परेशान रहे। वाहनों की लंबी कतारें लगी रहीं। सड़क खुलने के बावजूद एनएच पर स्वांला सहित कई जगह आवाजाही जोखिमभरी बनी हुई है।   जिले की दो (स्याला-पोथ, डालछीना-टम्टाबगड़) ग्रामीण सड़कें बंद हैं।

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