तालिबान के आतंक से निकल घर पहुंचे अफगानिस्तान में फंसे लोग, जानें- क्या कहा उस खौफनाक मंजर के बारे में

तालिबान के आतंक से निकल घर पहुंचे अफगानिस्तान में फंसे लोग, जानें- क्या कहा उस खौफनाक मंजर के बारे में

देहरादून। अफगानिस्तान में फंसे भारतीयों के घर वापसी का सिलसिला जारी है। अलग-अलग देशों से होते हुए कई भारतीय अपने घर पहुंचने लगे हैं, जबकि, कई अभी भी लंदन, दुबई, कजाकस्तान समेत अन्य देशों में हैं, जिनकी घर वापसी भी जल्द हो सकती है। हालांकि, अभी काबुल में फंसे भारतीयों की चिंता बरकरार है। अफगानिस्तान से उड़ान भरने बाद ही उन्हें राहत मिलेगी। इधर, काबुल से कजाकस्तान के रास्ते 89 उत्तराखंडी अपने घर पहुंच गए हैं। दिल्ली पहुंचते ही उन्होंने भारत माता की जय नारे लगाए। उत्तराखंड के 80 नागरिकों समेत कुल 175 भारतीयों ने लंदन से दिल्ली के लिए उड़ान भर दी है।

काबुल में कई दिन तक एयरपोर्ट के आसपास दर-दर भटक रहे 89 उत्तराखंडी सुरक्षित घर पहुंच गए हैं। कजाकस्तान से दिल्ली पहुंचकर जैसे ही ये एयरपोर्ट के बाहर आए सभी खुशी से झूम उठे। जमीन को चूमकर उन्होंने भगवान का धन्यवाद किया और भारत माता की जय के नारे भी लगाए। भारत सरकार की ओर से मिले सहयोग के लिए भी उन्होंने आभार जताया

इस दल में शामिल दून निवासी सागर थापा ने बताया कि जीवन में ऐसे हालात कभी नहीं आए। काबुल में जो भी देखा वह खौफनाक था। एक बार को लगा कि जैसे जींदगी खत्म होने वाली है, लेकिन फिर जैसे-तैसे वहां से निकल ही गए। कहा कि आज अपने घर पहुंचकर जो अहसास वह कर रहे हैं, उसे बयां नहीं किया जा सकता। काबुल में खाने-पीने के संकट के बीच तालिबानियों से बचने का संघर्ष उनके लिए पल-पल काटना भारी कर रहा था। दिल्ली पहुंचने पर उन्हें ऐसा लगा कि मां के आंचल की छांव में आ गए।

80 उत्तराखंडी लंदन से हुए रवाना

काबुल में फंसे 80 और उत्तराखंडी दुबई के रास्ते लंदन पहुंचे, जहां से जेट एयरवेज की फलाइट में सवार होकर दिल्ली के लिए रवाना हो चुके हैं। काबुल में ब्रिटिश एंबेसी में कार्यरत सुजीत लामा ने बताया कि रविवार रात करीब नौ बजे लंदन उड़ान भरी। सोमवार को वे अपने घर पहुंच जाएंगे। यह जानकारी मिलने के बाद सभी के स्वजन राहत की सांस ले रहे हैं। सुजीत ने बताया कि ब्रिटिश एंबेसी ने उन्हें पूरा सहयोग किया। अब बस घर पहुंचकर अपने परिवार को जल्द से जल्द मिलने की इच्छा है।

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