सार्वजनिक वाहनों से यात्रा करने वालों को धामों में दर्शन के लिए मिले प्राथमिकता, संयुक्त रोटेशन यात्रा व्यवस्था समिति ने उठाई मांग

सार्वजनिक वाहनों से यात्रा करने वालों को धामों में दर्शन के लिए मिले प्राथमिकता, संयुक्त रोटेशन यात्रा व्यवस्था समिति ने उठाई मांग

 ऋषिकेश: संयुक्त रोटेशन यात्रा व्यवस्था समिति ने सार्वजनिक वाहनों से यात्रा करने वाले यात्रियों को धामों में दर्शन के लिए प्राथमिकता दिए जाने की मांग की। साथ ही चार धाम यात्रा के संचालन के लिए अलग से ढांचा तैयार करने की मांग की है।

गुरुवार को संयुक्त रोटेशन यात्रा व्यवस्था समिति के अध्यक्ष संजय शास्त्री ने इस संबंध में प्रेस वार्ता में जानकारी दी। उन्होंने कहा कि चार धाम यात्रा उत्तराखंड में अर्थव्यवस्था का सबसे बड़ा स्रोत है। प्रतिवर्ष चारधाम यात्रियों की संख्या में लगातार वृद्धि हो रही है। उन्होंने कहा कि संयुक्त रोटेशन यात्रा व्यवस्था समिति 50 वर्षों से अधिक समय से चार धाम यात्रा का संचालन कर रही है। बताया कि चार धाम यात्रा पर आने वाले अधिकांश श्रद्धालु ग्रामीण अंचलों से आते हैं, जो आर्थिक रूप से अधिक संपन्न नहीं होते। ऐसे में उन श्रद्धालुओं को सार्वजनिक परिवहन के तौर पर संयुक्त रोटेशन यात्रा व्यवस्था समिति यात्रा करवाती है।

उन्होंने कहा कि वर्तमान समय में बड़ी संख्या में श्रद्धालु अपने निजी वाहनों से चार धाम यात्रा करा रहे हैं, जिससे कम बजट, सीमित संसाधनों में यात्रा करने वाले आम श्रद्धालुओं को धामों में दर्शन के लिए परेशानी उठानी पड़ती है। उन्होंने कहा कि इस वर्ष सरकार संवेदनशील ढंग से चार धाम यात्रा का संचालन कर रही है। ऐसे में सरकार को आम श्रद्धालुओं के साथ सीमित बजट में यात्रा करने वाले यात्रियों का विशेष ध्यान रखने की जरूरत है।

उन्होंने कहा कि सार्वजनिक वाहनों से चार धाम की यात्रा पर जाने वाले श्रद्धालुओं के पंजीकरण की अलग से व्यवस्था की जानी चाहिए। साथ ही उनके लिए यात्रा और दर्शन की तिथि भी निर्धारित की जानी चाहिए, जिससे ग्रामीण आंचल से आने वाले तीर्थ यात्रियों को किसी तरह की परेशानी से न जूझना पड़े। उन्होंने कहा कि केदारनाथ में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आगमन के बाद देशभर के युवाओं में केदारनाथ के प्रति आकर्षण बढ़ा है। बड़ी संख्या में युवा अपने निजी वाहनों से केदारनाथ पहुंच रहे हैं, जिससे यहां बनी पार्किंग में निजी वाहनों के कारण सार्वजनिक परिवहन को स्थान नहीं मिल पाता और सड़कों पर जाम की समस्या बन जाती है। उन्होंने निजी वाहनों पर अंकुश लगाने की मांग की।

साथ ही मई और जून माह को चार धाम यात्रा मेला अवधि घोषित करने, सार्वजनिक वाहनों से यात्रा करने वाले यात्रियों को धामों में दर्शन की लिए प्राथमिकता देने के अलावा चार धाम यात्रा को सुव्यवस्थित ढंग से संचालित करने के लिए अलग से प्रशासनिक ढांचा गठित करने की भी मांग की। ताकि यात्रा से जुड़े सभी विभाग सामान्य के साथ समय पर चार धाम यात्रा की तैयारी कर सकें। इस अवसर पर जितेंद्र नेगी आदि मौजूद रहे।

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